एनक्यूएएस कार्यक्रम : 02 सदस्यीय राज्य टीम द्वारा शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, माता चौक का लिया गया जायजा

 

स्वास्थ्य केन्द्र में उपस्थित मरीजों को दिए जा रहे सुविधाओं की ली गई जानकारी, 

-टीम के मूल्यांकन के बाद स्वास्थ्य केंद्र को दिया जाएगा अंक, 

-अंक के आधार पर स्वास्थ्य केंद्र को मिलेगा एनक्यूएएस प्रमाणपत्र, 

-स्वास्थ्य केन्द्र में मरीजों के अच्छे इलाज के लिए स्वास्थ्य अधिकारियों और कर्मियों द्वारा जाता है भरसक प्रयास, 

 

पूर्णिया (ब्यूरो रिपोर्ट) :  राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन मानक (एनक्यूएएस) कार्यक्रम के तहत शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र (यूपीएचसी), माता चौक पूर्णिया का 02 सदस्यीय राज्य स्तरीय टीम द्वारा निरीक्षण किया गया। दो दिवसीय निरीक्षण के दौरान टीम द्वारा अस्पताल में मरीजों को मिलने वाले विभिन्न सुविधाओं की जांच और विश्लेषण किया गया। इस दौरान अस्पताल में उपलब्ध सभी स्वास्थ्य अधिकारियों और कर्मियों की मरीजों के साथ होने वाले व्यव्हारों की अंकेक्षण करते हुए सभी जानकारी एकत्रित किया गया।

अस्पताल के उसी जानकारी का राज्य स्वास्थ्य विभाग द्वारा विश्लेषण करते हुए अस्पताल को एनक्यूएएस प्रमाणीकरण के लिए अंक प्रदान किया जाएगा। अस्पताल का निरक्षण के लिए राज्य स्तरीय टीम में डॉ नामित कुमार और डॉ प्रबीर रंजन मोहराना शामिल रहे। अधिकारियों के निरक्षण के दौरान जिला स्वास्थ्य समिति के अधिकारियों द्वारा राज्य टीम को आवश्यक सहयोग प्रदान किया गया। इस दौरान सिविल सर्जन डॉ अभय प्रकाश चौधरी, आरपीएम डॉ कैशर इकबाल, डीपीएम सोरेंद्र कुमार दास, शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी चिकित्सक डॉ अरविंद कुमार झा, यूनिसेफ जिला समन्यवक शिवशेखर आनंद, डीसीक्यूए डॉ अनिल कुमार शर्मा, यूपीएचसी जिला कंसल्टेंट दिलनवाज, एनसीडी कंसल्टेंट केशव कुमार, पूर्णिया पूर्व प्रखंड के बीएचएम विभव कुमार, यूनिसेफ इंटर्न अर्पिता हल्दार, प्रणव कुमार, के साथ यूपीएचसी माता चौक की एएनएम अनुभा कुमारी, एएनएम संगीता कुमारी, एएनएम नूतन कुमारी, एएनएम समता कुमारी, एएनएम शीलम कुमारी सहित लैब टेक्नीशियन कुमार गौरव, लैब टेक्नीशियन अमन कुमार, अकॉउंटेन्ट रविश कुमार, अस्पताल कर्मी सच्चिदानंद भारती सहित बहुत से मरीज उपस्थित रहे।

स्वास्थ्य केन्द्र में उपस्थित मरीजों को दिए जा रहे सुविधाओं की ली गई जानकारी :

निरीक्षण टीम द्वारा अस्पताल में मरीजों के लिए उपस्थित सुविधाओं की जानकारी लेते हुए मरीजों को दिए जा रहे सभी सुविधाओं की जांच की गई। राज्य टीम निरक्षक डॉ नामित कुमार ने कहा कि एनक्यूएएस के लिए शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में मरीजों के लिए 12 तरह की सुविधाओं का उपलब्ध होना आवश्यक है। इसमें जनरल क्लीनिक के साथ साथ मातृत्व स्वास्थ्य, नवजात शिशु और सामान्य शिशु की जांच सुविधा, गर्भवती महिलाओं और शिशुओं का टीकाकरण व्यवस्था, परिवार नियोजन सुविधा, संचारी रोग, गैर संचारी रोग नियंत्रण सुविधा, इमरजेंसी सुविधा, ड्रेसिंग की व्यवस्था, फार्मेसी व्यवस्था, लैबोरेटरी की सुविधा, अस्पताल कैम्पस में मरीजों के बैठने की व्यवस्था और अस्पताल प्रशासन की व्यवस्था महत्वपूर्ण है। राज्य स्तरीय टीम द्वारा स्वास्थ्य केन्द्र में उपलब्ध इन व्यवस्था की जानकारी लेते हुए मरीजों को मिल रही सुविधाओं का मूल्यांकन किया गया है। इस दौरान अस्पताल में 60 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों को जेनरल क्लीनिक के लिए पर्चा कटवाने पर शुल्क जमा करने पर मिल रही छूट की भी जानकारी प्राप्त की गई है। अस्पताल में उपलब्ध इन सुविधाओं के आधार पर यूपीएचसी माता चौक को राज्य स्वास्थ्य विभाग द्वारा एनक्यूएएस कार्यक्रम के तहत अंक प्रदान किया जाएगा। अंक के आधार पर स्वास्थ्य केन्द्र को रैंकिंग और प्रमाणपत्र जारी किया जाएगा। राज्य टीम द्वारा एनक्यूएएस कार्यक्रम के तहत प्रामाणिक मिलने के बाद संबंधित अस्पताल राष्ट्रीय प्रमाणीकरण के पात्र हो सकेंगे।

अंक के आधार पर स्वास्थ्य केंद्र को मिलेगा एनक्यूएएस प्रमाणपत्र :

यूनिसेफ जिला समन्यवक शिवशेखर आनंद ने बताया कि अस्पताल का गुणवत्ता आश्वासन एक निरंतर एवं व्यापक प्रक्रिया है। इसका उद्देश्य स्वास्थ्य संस्थाओं के सभी विभागों/प्रक्षेत्रों में गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध कराना है। इस उद्देश्य की पूर्ति हेतु शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर गुणवत्ता पूर्ण समिति का गठन, अस्पताल के इंटरनल/बेसलाइन असेसमेंट, मरीज संतुष्टि का सर्वे, अस्पताल में होने वाले विभिन्न गतिविधियों का परफॉर्मेंस और देखभाल की गुणवत्ता आदि की जांच की जाती है। इसके आधार पर संबंधित अस्पताल को राज्य स्तरीय टीम द्वारा अंक प्रदान किया जाता है जिसके तहत अस्पताल को एनक्यूएएस प्रमाणपत्र जारी किया जाता है।

एनक्यूएएस के तहत मूल्यांकन विधि के आधार पर मिलेगा अंक :

डीसीक्यूए डॉ अनिल कुमार शर्मा ने बताया कि एनक्यूएएस के तहत चार विधियों द्वारा अस्पताल में उपलब्ध सुविधाओं की जानकारी प्राप्त की जाती है। इसमें अस्पताल का निरक्षण, अस्पताल में उपलब्ध रेकॉर्ड की समीक्षा, उपलब्ध मरीजों से प्राप्त जानकारी और अस्पताल में उपलब्ध कर्मियों से जानकारी प्राप्त किया जाता है। मापन योग्य सभी घटकों, जांच बिंदुओं और अनुपालन का मूल्यांकन करने के बाद विभाग/स्वास्थ्य केंद्र के अंको की गणना कर अस्पताल को अंक प्रदान किया जाता है। इसके आधार पर अस्पताल को एनक्यूएएस प्रमाणपत्र जारी किया जाता है।

स्वास्थ्य केन्द्र में मरीजों के अच्छे इलाज के लिए स्वास्थ्य अधिकारियों और कर्मियों द्वारा जाता है भरसक प्रयास :

सिविल सर्जन डॉ अभय प्रकाश चौधरी ने बताया कि स्वास्थ्य केंद्र में राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन मानक (एनक्यूएएस) प्रमाणीकरण के लिए आवश्यक सभी स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध है। इसके लिए यहां कार्यरत स्वास्थ्य अधिकारियों व कर्मियों द्वारा उपलब्ध मरीजों को बेहतर चिकित्सकीय सहायता प्रदान करने के लिए भरसक प्रयास किया जाता है जिससे कि यहां उपस्थित मरीजों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध हो सके और उन्हें जिला मुख्यालय आकर बड़े अस्पतालों के चक्कर नहीं लगाने पड़े। जांच के लिए उपस्थित राज्य स्तरीय टीम के द्वारा भी स्वास्थ्य केंद्र में सभी उपलब्ध सुविधाओं का अवलोकन किया गया है। इसके साथ साथ राज्य टीम द्वारा अस्पताल में उपस्थित मरीजों से भी यहां मिल रहे सुविधाओं की जानकारी ली गई है। सभी मरीजों द्वारा भी अस्पताल में बेहतर स्वास्थ्य जांच की जानकारी दी गई है। राज्य स्वास्थ्य विभाग द्वारा सभी सुविधा गुणवत्तापूर्ण पाए जाने पर यूपीएचसी माता चौक को भी बहुत जल्द एनक्यूएएस प्रमाणीकरण मिल जाएगा।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *