संयुक्त किसान मोर्चा और ट्रेड यूनियन के आवाहन पर आयोजित अखिल भारतीय ग्रामीण हड़ताल के समर्थन में वामदल व संयुक्त किसान मोर्चा ने निकाला मार्च

मोदी सरकार का 10 साल – गरीब किसान का हुआ बुरा हाल-वामदल

 

दरभंगा(ब्यूरो रिपोर्ट):___चार संशोधित श्रम एवं बिजली विधेयक रद्द करने, किसान को एमएसपी देने, खाली पदों पर बहाली करने, महंगाई पर रोक लगाने, ओपीएस लागू करने, चालकों के लिए जानलेवा हीट एंड रन कानून वापस लेने, रसोईया, आशा, आंगनबाड़ी आदि स्कीम वर्करों को 26 हजार रुपये मानदेय देने, बाजार समिति को लागू करने, किसान- मजदूरों को 10 हजार रुपये पेंशन देने, ठेका प्रथा बंद करने आदि मांगों को लेकर शुक्रवार को आहूत ग्रामीण भारत बंद एवं देशव्यापी आम हड़ताल के अवसर पर संयुक्त ट्रेड यूनियन एवं संयुक्त किसान मोर्चा के बैनर तले पोलो मैदान से विशाल जुलुश निकाला गया। जो बस स्टैंड, लोहिया चौक, लहेरिया सराय टावर, समाहरणालय होते हुए लहेरियासराय क्लब के पास आकर सभा में तब्दील हो गया।

मार्च का नेतृत्व किसान सभा के जिला अध्यक्ष राजीव कुमार चौधरी, किसान महासभा के राज्य सह सचिव अभिषेक कुमार, किसान कौंसिल के जिला सचिव राम सागर पासवान ने किया।

वही रोटरी क्लब के पास आयोजित सभा की अध्यक्षता खेग्रामस जिला अध्यक्ष सत्यनारायण मुखिया,ऐक्टू के जिला अध्यक्ष उमेश साह, किसान कौंसिल के जिला अध्यक्ष महेश दुबे, सीटू के अध्यक्ष दिनेश झा, खेत मजदूर यूनियन के जिला सचिव सुधीर कुमार, किसान सभा के जिला सचिव अली अहमद तम्मने ने संयुक्त रूप से किया।

 

इस अवसर पर सीपीएम राज्य सचिव ललन चौधरी, भाकपा(माले) जिला सचिव बैद्यनाथ यादव, सीपीएम कार्यकारी जिला मंत्री श्याम भारती, सीपीआई जिला सचिव नारायण जी झा, भाकपा(माले) के वरिष्ठ नेता आर के सहनी, सीपीएम नेता दिनेश झा, गोपाल ठाकुर, सुनील शर्मा, राम सागर पासवान, नरेंद्र मंडल, सुशीला देवी, नीरज कुमार, सुधीर पासवान, शिवनंदन यादव, शिला देवी, विद्यानंद मिश्रा, भाकपा(माले) के अभिषेक कुमार, विनोद सिंह, हरि पासवान, धर्मेश यादव, देवेंद्र कुमार, प्रवीण यादव, नंदलाल ठाकुर, भोला पासवान, अमित पासवान, प्रिंस राज, सबिता देवी, शनिचरी देवी, अशोक पासवान, मोहम्मद जमालुद्दीन, पप्पू खान, मयंक कुमार यादव, संतोष यादव, राम विलास मंडल, नीलम देवी, रंजन प्रसाद सिंह, कामेश्वर पासवान, केशरी यादव,

सीपीआई से सबीर अहमद बेग, चंद्र किशोर झा, हरेश कुमार सिंह, आनंद मोहन, शरद कुमार सिंह, राजू मिश्रा, हरेकृष्ण राम, शिव कुमार सिंह, मोहमद कलाम, मणिकांत झा, किशलय, शामिल थे।

 

इस अवसर पर आयोजित सभा को संबोधित करते हुए वक्ताओं ने कहा की मोदी सरकार का 10वर्षों का शासनकाल मजदूर किसानों और अन्य मेहनतकश समुदाय के लिए विनाशकारी रहा है। इसने किसानों के साथ विश्वासघात किया है इसलिए एकबार फिर किसान दिल्ली की तरफ कूच कर रहे हैं और आज पूरे देश में किसान मजदूर एक साथ हड़ताल में सड़कों पर उतरे हुए हैं। किसानों को दिल्ली आने से रोकने के लिए हरियाणा एवम केंद्र की भाजपा सरकार पुलिस को सामने करके बर्बर दमन कर रही है।पहली बार ड्रोन से आंसू गैस के गोले दागे जा रहे हैं।यह लोकतांत्रिक संवैधानिक अधिकारों की हत्या है। ऐसा जुल्म तो अंग्रेजों ने भी नही किया था। लेकिन दमन से किसानों की आवाज नही दबाई जा सकती है।मजदूर और किसान एकजुट हो गए हैं और इसका करारा जवाब आगामी लोकसभा चुनाव में देंगे।किसान मजदूर,जनविरोधी ,कॉरपोरेट अंबानी अडानी भक्त मोदी सरकार को उखाड़ फेंकेंगे।

आगे नेताओं ने कहा कि आज के देशव्यापी हड़ताल के माध्यम से 23 सूत्री मांगो को हमने सरकार के सामने रखा है जिसमे किसानों के उपज का एमएसपी पर खरीद की गारंटी,किसान मजदूरों का संपूर्ण कर्जा माफी,लखीमपुर खीरी जनसंहार के दोषी भाजपा नेता केंद्रीय मंत्री अजय मिश्र टेनी को मंत्रिमंडल के बर्खास्त करने और हत्या का मुकदमा चलाने,4 लेबर कोड वापस लेने और पुराने 44श्रम अधिकार कानूनों की बहाली,8घंटे के कार्य दिवस को बरकरार रखने,सभी स्कीम वर्करों(मिड डे मील रसोइया,आशा,आंगनबाड़ी सेविका/सहायिका,भारत स्वच्छता मिशन कर्मियों)को सरकारी कर्मचारी का दर्जा देने,न्यूनतम वेतनमान 26000रुपए लागू करने,नई पेंशन योजना वापस लेने और पुरानी पेंशन योजना बहाल करने,बिजली बिल 2020 और हिट एंड रन कानून 2023 वापस लेने,मजदूर किसानों को बुढ़ापा में 10000 रुपए पेंशन देने, मनरेगा में 200दिन काम और 600रुपए दहाड़ी लागू करने, नई शिक्षा नीति 2020 को रद्द करने सहित कई मांग प्रमुख है।

 

सभा से अंत में यंग इंडिया द्वारा आयोजित 18-19 को आयोजित रेफरेंडम अभियान को सफल बनाने, तथा 28 फरवरी को दिल्ली में आयोजित यंग इंडिया रैली को सफल बनाने की अपील की गई।

 

संयुक्त आंदोलन की ओर से प्रिंस राज

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